राष्ट्रपति भवन : 22.01.2013
भारत के राष्ट्रपति, श्री प्रणब मुखर्जी आज (22.1.2013) राष्ट्रपति भवन में राष्ट्रीय वीरता पुरस्कार 2012 के लिए चुने गए बच्चों से मिले।
इन पुरस्कारों के लिए चुने गए 22 बहादुर बच्चों में से चार लड़कियां हैं।
वीरता के लिए राष्ट्रीय पुरस्कारों की योजना भारतीय बाल कल्याण परिषद द्वारा बहादुरी तथा विशिष्ट सेवा के असाधारण कार्यों से अपनी पहचान बनाने वाले बच्चों को उचित सम्मान प्रदान करने तथा अन्य बच्चों को उनका अनुकरण करने के लिए प्रेरित करने के लिए की गई थी। इसके लिए परिषद द्वारा गठित एक उच्चाधिकार प्राप्त समिति द्वारा चयन किया जाता है।
इन पुरस्कार विजेताओं को दिल्ली आमंत्रित किया जाता है, जहां भारत के प्रधानमंत्री द्वारा उन्हें गणतंत्र दिवस की पूर्व संध्या पर पुरस्कार प्रदान किए जाते हैं। इसके बाद बच्चे गणतंत्र दिवस परेड में भाग लेते हैं।
पुरस्कार विजेताओं को एक पदक, प्रमाण पत्र और नकद राशि प्रदान की जाती है। पात्र पुरस्कार विजेताओं को तब तक वित्तीय सहायता दी जाती है जब तक वे स्कूली शिक्षा पूर्ण करते हैं। इसके साथ ही, परिषद द्वारा ऐसे पुरस्कार विजेताओं को अपनी इन्दिरा गांधी छात्रवृत्ति योजना के तहत वित्तीय सहायता प्रदान की जाती है जो इंजीनियरी और चिकित्सा जैसे व्यावसायिक पाठ्यक्रमों में पढ़ाई जारी रखते हैं। अन्य विजेताओं को यह सहायता उनके द्वारा स्नातक की शिक्षा पूर्ण करने तक दी जाती है। 1957 में इस योजना की शुरुआत से परिषद ने 846 बहादुर बच्चों को ये पुरस्कार दिए हैं जिनमें 602 लड़के और 244 लड़कियां हैं।
यह विज्ञप्ति 1840 बजे जारी की गई