राष्ट्रपति भवन : 23.12.2016
भारत के राष्ट्रपति,श्री प्रणब मुखर्जी ने आज (23 दिसंबर, 2016) आर्मी कॉलेज ऑफ डेंटल साइंसेज, सिकंदराबद में एमडीएस के छठे दीक्षांत समारोह और बीडीएस पाठ्यक्रम के ग्यारहवें दीक्षांत समारोह को संबोधित किया।
इस अवसर पर राष्ट्रपति ने कहा कि जब तक नागरिकों का स्वास्थ्य अच्छा नहीं होता उनकी परिणामी क्षमता का पूर्ण रूप से उपयोग नहीं किया जा सकता। पर्याप्त संख्या में आबादी के लिए गुणवत्ता स्वास्थ्य के बुनियादी ढांचा सुनिश्चित करना महत्वपूर्ण है। हमारे देश में 300 से अधिक दंत चिकित्सा कॉलजे हैं जहां से प्रतिवर्ष लगभग 30,000 दंत चिकित्सक तैयार होते हैं। यह संख्या किंचित अपर्याप्त हैं क्योंकि दंत चिकित्सकों और रोगियों की संख्या में कम अनुपात है। विशेषकर अर्द्धशहरी और ग्रामीण क्षेत्रों में। शहरी क्षेत्रों में 1ः8,000 पहले से ही कम अनुपात की अपेक्षा ग्रामीण क्षेत्रों में दंत चिकित्सकों और आबादी का अनुपात न्यून है अर्थात प्रत्येक दंत चिकित्सक के लिए 50,000 लोग हैं।
राष्ट्रपति ने कहा कि दंत चिकित्सा सेवाओं से अब तक वंचित आबादी तक पहुंचने के लिए जागरूकता अभियान आरंभ करना अनिवार्य हो गया है। हमें उपयुक्त मुंह स्वास्थ्य पर अभिभावकों को शिक्षित करके निम्न स्तर से आरंभ करना होगा और यह सुनिश्चित करना होगा कि बड़ी संख्या में बच्चों में अच्छी आदतें विकसित करना सुनिश्चित किया जाए। हमारी आबादी के वंचित और कमजोर वर्गों के लोगों तक प्रभावी रूप से पहुंचने के लिए हमें उनको याद दिलाने और उन्हें लाभ पहुंचाने के सरलतर तरीके अनपाने होंगे। वीडियो सहायता और प्रदर्शन इस विषय पर लोगों का ज्ञानवर्द्धन कर सकते हैं। हमारे समाज में मुंह स्वास्थ्य की आदत विकसित करने के लिए हमें एक मानसिकता पैदा करनी होगी जो व्यक्तिगत मुख स्वच्छता में सुधार के महत्व को समझ सके।
यह विज्ञप्ति 1255 बजे जारी की गई