राष्ट्रपति भवन : 29.12.2012
आज प्रात: 23 वर्षीय युवती के सिंगापुर में निधन पर मैं अत्यंत व्यथित हूं।
वह एक बहादुर और साहसी लड़की थी जो अपनी मर्यादा और अपने जीवन के लिए अंतिम सांस तक लड़ी। वह एक सच्ची वीरांगना है जो कि भारतीय युवाओं और महिलाओं में सर्वोत्तम गुणों का प्रतीक है।
मैं उसके माता-पिता को अपना शोक व्यक्त करता हूं, जिन्होंने अत्यंत धैर्य और गरिमा के साथ इस संकट का सामना किया। मैं प्रार्थना करता हूं कि उन्हें इस क्षति को सहने की ताकत मिले। पूरा देश भारत की इस बहादुर बेटी की मृत्यु पर शोक संतप्त है।
इसी के साथ, हमें यह भी संकल्प लेना होगा कि यह मृत्यु व्यर्थ नहीं जाएगी। हम यह सुनिश्चित करने का हर संभव प्रयास करेंगे कि इस तरह की घटना दोबारा न होने पाए।
मैं सभी से शांति और धैर्य बनाए रखने की अपील करता हूं और प्राधिकारियों का आह्वान करता हूं कि वे इस जघन्य अपराध के लिए जिम्मेदार अपराधियों को न्याय के कटघरे में खड़ा करने के लिए सभी जरूरी उपाय करें।